झारखंड: असिस्टेंट प्रोफेसर नियुक्ति में 700 व्याख्याताओं को वेटेज और उम्र सीमा में छूट

रांची। झारखंड के विश्वविद्यालयों और कॉलेजों में असिस्टेंट प्रोफेसर की नियुक्ति प्रक्रिया में 700 आवश्यकता आधारित व्याख्याताओं को वेटेज और उम्र सीमा में छूट दी जाएगी। इस संबंध में झारखंड लोक सेवा आयोग (JPSC) को भेजी गई अधियाचना में संशोधन किया जाएगा। इसके बाद 2416 असिस्टेंट प्रोफेसर के पदों पर भर्ती का विज्ञापन जारी होगा।
सरकार करेगी नीतिगत बदलाव
झारखंड विधानसभा में उच्च एवं तकनीकी शिक्षा मंत्री सुदिव्य कुमार ने यह जानकारी दी। कांग्रेस विधायक दल के नेता प्रदीप यादव के प्रश्न का उत्तर देते हुए उन्होंने कहा कि आवश्यकता आधारित व्याख्याताओं का समायोजन एक नीतिगत मामला है। इनकी नियुक्ति तत्कालिक जरूरत के तहत की गई थी। सरकार यह सुनिश्चित करेगी कि इन व्याख्याताओं के आठ वर्षों का अनुभव व्यर्थ न जाए। इसलिए उन्हें सेवा वर्षों के आधार पर वेटेज दिया जाएगा और साथ ही उम्र सीमा में भी छूट प्रदान की जाएगी, ताकि वे प्रतियोगिता से बाहर न हो जाएं।
व्याख्याताओं के सीधे समायोजन की मांग
कांग्रेस विधायक प्रदीप यादव ने 700 व्याख्याताओं का सीधे समायोजन करने की मांग की। उन्होंने कहा कि ये सभी पिछले सात-आठ वर्षों से विश्वविद्यालयों और कॉलेजों में पढ़ा रहे हैं और नेट-पीएचडी जैसी अर्हताएं पूरी कर चुके हैं। उनका तर्क था कि यदि सरकार ने विज्ञापन जारी करने से पहले वेटेज और उम्र सीमा में छूट का निर्णय नहीं लिया, तो यह मामला कोर्ट में जा सकता है और भर्ती प्रक्रिया रुक सकती है। उन्होंने हरियाणा, राजस्थान, हिमाचल प्रदेश और मिजोरम का उदाहरण देते हुए बताया कि वहां ऐसे व्याख्याताओं को समायोजित कर लिया गया था।